कांवड़ यात्रा से पहले सुरक्षा व्यवस्था कड़ी: प्रदेश में सुरक्षा के नज़रिये से पुलिस बल की तैनाती साथ ही सीसीटीवी कैमरे और ड्रोन से विशेष निगरानी रखी जाएगी.

VSCHAUHAN for NEWS EXPRESS INDIA

उत्तराखंड के डीजीपी अशोक कुमार ( DGP Ashok Kumar )  ने बताया कि 4 जुलाई से शुरू होने वाली कांवड़ यात्रा ( Kanwar Yatra ) के सुरक्षा को लेकर के चप्पे-चप्पे पर पुलिस की नजर रहेगी. सुरक्षा के नज़रिये से हर जोन पर नजर रखने के लिए 333 सीसीटीवी कैमरों के अलावा ड्रोन कैमरों का इस्तेमाल किया जा रहा है.

पुलिस ने कांवड़ यात्रा के दौरान लिया बड़ा निर्णय
उत्तराखंड पुलिस की ओर से कावंड़ यात्रा को लेकर समीक्षा बैठक की गई. जिसमें निर्णय लिया गया कि यात्रा को सुचारू रूप से और पूरी सुरक्षा के साथ खत्म किया जाए. और इस बैठक में सबसे बड़ा निर्णय ये लिया गया कि बिना साइलेंसर वाले वाहनों को अनुमति नहीं दी जाएगी और उन्हें जब्त कर लिया जाएगा. अशोक कुमार ने कहा कि कांवड़ यात्रा को लेकर के सभी जरूरी तैयारी करली है जिसमें सुरक्षा व्यवस्था पर खा ध्यान रखा गया है.

आपको बता दें कति हर साल कांवड़ यात्रा निकलती है ये भगवान शिव के भक्तों की एक वार्षिक तीर्थयात्रा है. कांवरिया (तीर्थयात्री) गंगा नदी से पवित्र जल लाने के लिए उत्तराखंड में हरिद्वार ( Haridwar ), गौमुख और गंगोत्री और बिहार में सुल्तानगंज ( Bihar Sultanganj ) जैसे स्थानों पर जाते हैं और फिर उससे भगवान शिव ( Bhagwan Shiv ) की पूजा करते हैं.

केसरिया कपड़ा पहन कर चढ़ाते हैं जल
सावन के महीने में कांवर यात्रा एक महत्वपूर्ण अनुष्ठान है. इस अनुष्ठान के लिए लोग पवित्र नदियों से पानी इकट्ठा करते हैं और इसे छोटे मिट्टी के बर्तनों में रखते हैं जिन्हें कांवर कहा जाता है. भक्त पवित्र जल ले जाते समय केसरिया रंग के कपड़े पहनते हैं और भगवान शिव को समर्पित मंदिरों के दर्शन के लिए खाली पांव पैदल चलते हैं. और वहां जल चढ़ा कर पूजा करते हैं.

ये महिना है सबसे पवित्र
सावन हिन्दू धर्म के अनुसार साल का पांचवां महिना है और इस महिने का हिन्दू धर्म का सबसे पाक  ( पवित्र ) महिना है. पूरे अवधि को दौरान हर सोमवार को व्रत रखने और भगवान शिव का आशीर्वाद पाने के लिए सबसे अधिक शुभ समय माना जाता है.

 

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *