उत्तराखंड आशा स्वास्थ्य कार्यकत्री यूनियन एवं आशा हेल्थ वर्कर्स यूनियन ने राज्य कर्मचारी घोषित किए जाने सहित अपनी विभिन्न मांगों को लेकर प्रदेश सरकार के खिलाफ जबरदस्त नारेबाजी की।

VS CHAUHAN KI REPORT

एक दिन पूर्व शासन से वार्ता के बावजूद मंगलवार को फिर आशा वर्कर मुख्यमंत्री आवास की तरफ कूच किया। आशाओं ने वार्ता के दौरान दिए गए प्रस्ताव से छल किए जाने की बात कहकर प्रदेश सरकार के खिलाफ नारेबाजी की। राजपुर रोड स्थित सीटू के कार्यालय से आशाओं का जुलूस घंटाघर, राजपुर रोड़ होते हुए एस्लेहाल, दिलाराम बाजार, कैंट रोड से हाथीबड़कला पहुंचा, जहां पुलिस ने बैरिकेडिंग लगाकर उन्हें रोक लिया। इस दौरान आशा वर्करों की पुलिस से तीखी बहस हुई। वहीं धक्कामुक्की के बीच प्रांतीय अध्यक्ष शिवा दुबे बेहोश हो गईं।

मंगलवार दोपहर 12:30 बजे सीटू से संबद्ध उत्तराखंड आशा स्वास्थ्य कार्यकत्री यूनियन एवं आशा हेल्थ वर्कर्स यूनियन ने राज्य कर्मचारी घोषित किए जाने सहित अपनी विभिन्न मांगों को लेकर प्रदेश सरकार के खिलाफ जबरदस्त नारेबाजी की। मुख्यमंत्री आवास कूच के लिए जाने के दौरान पुलिस ने हाथीबड़कला में बैरिकेडिंग लगाकर आशाओं को रोक लिया। एक दिन पहले सोमवार नौ अगस्त को आशाओं की स्वास्थ्य सचिव से वार्ता हुई थी।

इस दौरान उनकी कई मांगों पर शासन की ओर से सहमति भी बनी थी, लेकिन फिर प्रस्ताव दिए जाने व इस पर सहमति बनने के बावजूद छल किए जाने का आरोप आशाओं की ओर से लगाया गया। यूनियन की जिलाध्यक्ष सुनीता पांडे ने कहा कि आशा वर्करों के साथ हमेशा से ही छल होता आया है।

अब वह अपने हक के लिए लड़ेंगी। पुलिस की ओर से बैरिकेडिंग किए जाने पर आशाओं की पुलिस के साथ बहस भी हुई। इसके बाद वह यही धरने पर बैठ गईं। अपर सिटी मजिस्ट्रेट के माध्यम से मुख्यमंत्री, स्वास्थ्य मंत्री को ज्ञापन भेजा गया। इस मौके पर सीटू के अध्यक्ष राजेंद्र सिंह नेगी, लेखराज, इंदु नौडियाल, अनन्त आकाश, हिमांशु चौहान, रविन्द्र नौडियाल आदि मौजूद रहे। प्रदर्शन में देहरादून, टिहरी, कोटद्वार, पौड़ी, हरिद्वार, उत्तरकाशी से आशाएं पहुंची थीं।

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