धर्मस्थलों के बहाने कहां बन रहे ‘ठिकाने’? देहरादून ,नैनीताल, रुद्रपुर:भूमि को लेकर बड़े मामले : अवैध कब्ज़े के आरोप. पढ़ें पूरी खबर.

Herdyes goswami for NEWS EXPRESS INDIA

उत्तराखंड के कई ज़िलों से कथित लैंड जिहाद को लेकर बड़े मामले सामने आने के बाद न केवल स्थानीय लोग बल्कि भाजपा व अन्य नेता भी एक समुदाय विशेष पर अवैध कब्ज़े के आरोप मढ़ रहे हैं, तो राज्य सरकार कार्रवाई करने की बात कर रही है. ऐसा ही एक मामला देहरादून के शास्त्री नगर का है, जहां एक मज़ार की आड़ में अवैध कब्ज़ा हुआ तो एक परिवार आकर बस गया और एक दुकान भी सज गई. स्थानीय लोगों के विरोध के बाद पुलिस की मौजूदगी में इस परिवार को खदेड़ा गया,

उत्तराखंड में मज़ारों की संख्या और कुछ इलाकों में मुस्लिम आबादी लगातार बढ़ने से कई तरह से बहस खड़ी हो रही है. मज़ारों में बैठे मौलानाओं आदि का कहना है कि यह किसी तरह के अतिक्रमण की कोशिश नहीं है, बल्कि किसी भी धर्म के लोग यहां आएं, उनकी मुरादें पूरी होती हैं और विश्वास करने वालों को मन की तसल्ली मिलती है. यही नहीं, उन्होंने सरकार से इन मज़ारों के सौंदर्यीकरण की मांग की है लेकिन सरकार के ही नुमाइंदे इन मज़ारों को अवैध कब्ज़ा बताकर इनके खिलाफ खड़े हो गए हैं.क्या कह रहे हैं ज़िम्मेदार?
बद्री केदार मंदिर समिति के अध्यक्ष अजेंद्र अजय का कहना है कि डेमोग्राफी में हो रहा यह बदलाव राष्ट्रीय सुरक्षा की दृष्टि से खतरा है. भाजपा विधायक दिलीप सिंह रावत ने तो सरकार से इस तरह ​कब्ज़ा करने वालों पर सख्त कार्रवाई की मांग करते हुए चेतावनी दे डाली है कि हिंदू उग्र हो सकते हैं. वहीं, पुलिस महानिदेशक अशोक कुमार कह रहे हैं कि इस तरह के जो मामले आ रहे हैं, उन पर कार्रवाई की जा रही है और संबंधित विभागों से भी बात की जा रही है.

क्या है मामला और चिंता की बात?
लोगों का साफ तौर पर कहना है कि मज़ारों के आड़ में ‘चादर जिहाद’ को रणनीतिक तौर पर इस्तेमाल करते हुए समुदाय विशेष के बाहरी लोग भी पहाड़ों में आकर बस रहे हैं. नैनीताल में इसी तरह डेमोग्राफी में बदलाव आ रहे हैं, जहां दस सालों में मुस्लिमों की संख्या करीब 20,000 बढ़ चुकी है और कई इलाकों में जहां पहले आबादी कुछ ही मुस्लिमों की थी, अब वहां बड़ी बस्तियां बताई जाती हैं. इनमें से कई लोगों की तो पहचान पर भी संदेह जताया जाता है.

वहीं, रुद्रपुर में हाईवे किनारे एक मज़ार को लेकर विवाद चल रहा है, जिसमें विश्व हिंदू परिषद के कार्यकर्ता इस मज़ार के खिलाफ खड़े हुए हैं और इसे अवैध कब्ज़ा बताकर हटाए जाने के पक्ष में हैं. नैनीताल और उधमसिंह नगर ज़िले में मुस्लिमों की आबादी बढ़ने और क्राइम के ग्राफ के बढ़ने में भी तालमेल बताया जा रहा है.

इस पूरे मामले पर उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी पहले कुछ मौकों पर कह चुके हैं कि इस तरह के अतिक्रमण बर्दाश्त नहीं किए जाएंगे और उनके खिलाफ कार्रवाई होगी. हाल में एक कार्यक्रम में धामी ने कहा कि राज्य भर में सत्यापन अभियान चलाकर ऐसे लोगों को रडार में लाया जा रहा है और ज़रूरी कार्रवाई की जा रही है.

 

 

 

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