बंगाल के चुनावी रण में सबसे हाई वोल्टेज सीट बन चुके नंदीग्राम से आज मुख्यमंत्री व तृणमूल कांग्रेस सुप्रीमो ममता बनर्जी ने नामांकन पत्र दाखिल कर दिया। इस सीट पर ममता का मुकाबला हाल में तृणमूल कांग्रेस छोड़कर भाजपा में शामिल होने वाले कद्दावर नेता सुवेंदु अधिकारी के साथ है।

संवाददाता

बंगाल के चुनावी रण में सबसे हाई वोल्टेज सीट बन चुके नंदीग्राम से आज मुख्यमंत्री व तृणमूल कांग्रेस सुप्रीमो ममता बनर्जी ने नामांकन पत्र दाखिल कर दिया। इस सीट पर ममता का मुकाबला हाल में तृणमूल कांग्रेस छोड़कर भाजपा में शामिल होने वाले कद्दावर नेता सुवेंदु अधिकारी के साथ है। मुख्यमंत्री ने दोपहर करीब 1:40 बजे हल्दिया में एसडीओ दफ्तर में इस सीट से अपना नामांकन पत्र दाखिल किया। दरअसल ममता कोलकाता के परंपरागत भवानीपुर सीट छोड़कर इस बार नंदीग्राम सीट से चुनाव लड़ने जा रही है।

ममता ने साल 2007-08 में बहुचर्चित नंदीग्राम आंदोलन का नेतृत्व किया था। इस आंदोलन ने साल 2011 में बंगाल से 34 साल लंबे वामपंथी शासन का अंत करने में अहम भूमिका निभाई थी। इधर, कद्दावर नेता सुवेंदु अधिकारी नंदीग्राम सीट से विधायक थे, लेकिन तृणमूल छोड़ने के साथ उन्होंने विधायक पद से भी इस्तीफा दे दिया था। अब इस सीट पर ममता व सुवेंदु के बीच बहुत ही रोचक मुकाबला है। नंदीग्राम सीट पर दूसरे चरण में 1 अप्रैल को मतदान होगा। इधर, नामांकन के बाद ममता वापस नंदीग्राम लौट जाएंगी।

गौरतलब है कि ममता नामांकन पत्र दाखिल करने के लिए एक दिन पहले मंगलवार को ही नंदीग्राम पहुंच गईं। नंदीग्राम में ममता ने 10,000 से ज्यादा तृणमूल के बूथ कार्यकर्ताओं को मंगलवार को संबोधित किया। इस दौरान ममता ने जमकर हिंदुत्व कार्ड खेला और भाजपा पर हमला बोलते हुए कहा कि मैं भी हिंदू हूं। कोई मुझे हिंदुत्व के बारे में नहीं सिखाए। ममता शाम में नंदीग्राम में दो मंदिरों में भी गईं। इसके बाद तुष्टीकरण का कार्ड खेलते हुए ममता वहां एक मजार में भी गई और वहां चादर चढ़ाई।

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